पत्रकारिता के गुरु पुष्पेंद्र पाल सिंह नहीं रहे
एमके न्यूज़
भोपाल. माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता विश्वविद्यालय के पूर्व प्राध्यापक, 'रोज़गार और निर्माण' अख़बार के संपादक प्रो पुष्पेन्द्रपाल सिंह का सोमवार मंगलवार की दरमियानी रात 1:00 बजे हृदयाघात से निधन हो गया। प्रो सिंह पब्लिक रिलेशन्स सोसायटी ऑफ इंडिया के मप्र चैप्टर के अध्यक्ष भी थे। वे अपने छात्रों के बीच 'पी.पी. सर' के नाम से मशहूर थे। अनगिनत छात्रों को उन्होंने पढ़ाई के अलावा उपयुक्त रोज़गार पाने में बहुत मदद की। साहित्यिक-सांस्कृतिक गतिविधियों से उनका गहरा लगाव था।
सूनी हो गई भोपाल की पत्रकारिता
पुष्पेंद्र पाल सिंह के अचानक यूं ही चले जाने से भोपाल की पत्रकारिता वीरान और सूनी सूनी हो गई है. पुष्पेंद्र पाल सिंह पत्रकारिता के कोर्स के साथ- साथ बच्चों को पत्रकारिता केरियर की कला भी सिखाते थे. वह पत्रकारिता में समय-समय पर आने वाले उतार-चढ़ाव की समस्या से आसानी से निपटने के गुर भी बहुत ही सरल तरीके से बच्चों के अंदर डालने का काम कर रहे थे. फिर चाहे पत्रकारिता का छात्र उनसे पहले से जुड़ा हो या अचानक उनके पास आकर अपनी समस्या पहली बार सुनाता हो. वह सभी को उसी अंदाज में अपना बना लेते थे जैसे कि वह उसे वर्षों से जानते हो और उनका छात्र रहा हो.
अब कौन कहेगा अनवर क्या चल रहा है तुम्हारा
माखनलाल विश्वविद्यालय से जब मैं एमजे कर रहा था, तब वह पत्रकारिता विभाग के एचओडी थे. पहले ही दिन से उन्होंने मुझे और अनवर क्या चल रहा है तुम्हारा. इस तकिया कलाम से नवाजा था. यानी वह मुझे देखते ही इस वाक्य से संबोधित करते थे. हाल ही में कुछ दिनों पहले जब हमारी मुलाकात हुई तो देखते ही उन्होंने मुझे इन्हीं शब्दों से आवाज लगाकर बुलाया था. इस आवाज से मुझे अपनापन और हिम्मत मिलती थी. सर आपके यूं ही चले जाने से इस तरह कौन मुझे बुलाएगा और अब कौन मुझे हिम्मत देगा. सुबह आपकी खबर सुनते ही और कुछ लिखने को नहीं बन रहा है.
सर आपके मार्गदर्शन में मेरे द्वारा तैयार किया गया मेहनतकश किसान (एमके न्यूज़ ) स्टार्टअप टीम आपको विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित करती है.
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