MP: किसान शासन के दिशा निर्देशों के विपरीत जला रहे हैं नरवाई, ग्राम सन वन तक पहुंची आग
नरवाई जलते जलते ग्राम सन वन तक पहुंची
गुलाबगंज तहसीलदार सिंगला ने दी कंट्रोल रूम को सूचना)
डॉ. अनवर खान, एमके न्यूज़
गुलाबगंज ( WWW.MEHNATKASHKISAN.COM). गुलाबगंज तहसील क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले ग्राम एवं वही विदिशा देहात के गांव में नरवाई जलते जलते ग्राम सन वन तक पहुंच गई रहवासी इलाका नजदीक होने के कारण इसकी सूचना तहसीलदार सिद्धांत सिंह सिंगला को चौकीदार द्वारा दी गई उन्होंने तत्काल क्षेत्र के पटवारी को मौके पर भेजकर मुआयना कराया और देखा गया की की सैकड़ों एकड़ के क्षेत्र में ग्राम वन सोजना एवं विदिशा देहात क्षेत्र में लगने वाले गांव के काश्तकारों ने अपने गेहूं के खड़ी नरवाई में आग लगा दी जिस कारण ग्राम सन वन मे कुछ चिंता का माहौल बन गया जिसकी सूचना तहसीलदार द्वारा कंट्रोल रूम को दी गई वहां से विदिशा से फायर फाइटर रवाना की गई और उसके द्वारा खेतों में लगी आग पर काबू पाया गया.
चुपचाप से अपनी खड़ी हुई नरवाई में आग लगा देते हैं
शासन के स्पष्ट निर्देश है गेहूं कटने के बाद खेत में खड़ी नरवाई को जलाया न जाए जिससे प्रदूषण तो होता ही है साथ ही साथ उपजाऊ जमीन भी अपनी उपयोगिता खो देती है वहीं कई जीव जंतुओं की मौत भी हो जाती है तथा जान माल का नुकसान का भय ग्राम वासियों में एवं प्रशासन मे बना रहता है परंतु इसके विपरीत किसान किसी भी कीमत पर मानने को तैयार नहीं है चुपचाप से अपनी खड़ी हुई नरवाई में आग लगा देते हैं वह सिर्फ पिलाऊ ना करना पड़े ? डीजल और मेहनत से बचने के लिए नरवाई में आग लगाना ही अपनी भलाई समझते हैं ? इस संबंध में तहसीलदार सिद्धांत सिंह सिन्गला कुछ किसानों को चिन्हित किया है जिन्होंने अपने खेत में आग लगाने का दुस्साहस किया है इस संबंध में राजस्व की धारा के अनुरूप उन पर कार्रवाई की जाएगी एवं चौकीदार के मार्फत ऐसे लोगों को नोटिस भेजे जाने की व्यवस्था वरिष्ठ अधिकारियों का मार्गदर्शन लेकर की जाएगी !
इनका कहना है........
किसानों द्वारा खेतों में नरवाई जलाने से जहां मिट्टी में पाए जाने वाले पोषक तत्वों को नुकसान पहुंचता है। वही पर्यावरण में भी प्रदूषण फैलता है। किसान भाइयों को शासन द्वारा जागरूक किया जाना चाहिए। जिस तरह से दिल्ली सरकार ने इस पर रोक लगाने हेतु विशेष प्रकार का एक केमिकल इजाद किया है। जो किसान भाइयों को फ्री में दिया जाता है। जिसे खेत में छिड़काव करने के बाद नरवाई वहीं पड़ी पड़ी अपने आप खाद में परिवर्तित हो जाती है। वहां के किसान भाइयों ने इसे खुशी-खुशी स्वीकार किया है। मध्य प्रदेश के किसान भाई और यहां की सरकार ने भी इस तरह पर अमल करना चाहिए।
डॉ अनवर खान, संपादक मेहनतकश किसान पत्रिका
किसानों को जागरूक किया जा रहा है बार-बार हिदायत दी जाती है कि नरवाई में आग ना लगाएं परंतु किसान अपने कुछ सुविधा को देखते हुए ऐसा कर रहे हैं जो नहीं किया जाना चाहिए इस संबंध में वरिष्ठ अधिकारियों से मार्गदर्शन मांगा गया है आगे की कार्रवाई किसानों को चिन्हित करके की जाएगी !
* सिद्धांत सिंह सिंगला तहसीलदार गुलाबगंज
शासन के निर्देशहैं कि किसान अपने खेतों की नरवाई ना जलाएं करोड़ों रुपया प्रचार-प्रसार पर सरकार खर्च कर रही है परंतु वह प्रचार प्रसार व्यर्थ ही जा रहा है किसान नरवाई में आग लगाकर अपनी उपजाऊ भूमि को की उर्वरक क्षमता को नष्ट कर रहे हैं जिससे अगली फसल की पैदावार पर भी असर पड़ता है और पैदावार का औसत कम हो जाता है वही प्रदूषण के साथ-साथ जीव जंतु भी आग में जलकर नष्ट हो जाते हैं जो हमारी जमीन को उपजाऊ रखते हैं
* विनोद शाह, कृषि के जानकार
खेत हमें फसल और अनाज का भरपूर उत्पादन देते हैं यह भूमि हमारी माता है इसको नहीं जलाया जाना चाहिए कुछ बचत की लालच में किसान नरवाई में आग लगाकर अपनी कृषि भूमि को बंजर बना रहे हैं ऐसा नहीं होना चाहिए इस संबंध में वरिष्ठ अधिकारियों को हम शिकायत करेंगे
*सुमित चौकसे कृषक उपसरपंच
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